बिहार में JD(U) का आभार कार्यक्रम विभिन्न जिलों में हो रहा है। इस सिलसिले में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने लखीसराय में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर खूब हमलावर होते दिखे। जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी को पता था कि नीतीश कुमार के पीछे अति पिछड़ा वर्ग का बहुत बड़ा ताकत है, इसलिए उन्होंने 2014 में सिर्फ नीतीश कुमार के ताकत को तोड़ने के लिए अति पिछड़ा बन गये। वह पहले पिछड़ा भी नहीं थे। 2000 में पिछड़ा वर्ग में खुद को शामिल किया। मैं देख रहा था छत्तीसगढ़ में गृह मंत्री का भाषण उन्होंने कहा कि मुझे जातीय गणना से कोई दिक्कत नहीं है। मैं इसके खिलाफ नहीं हूँ। अगर आप इसके खिलाफ नहीं हैं तो कहिए खुले मंच से की पूरे देश में जातीय गणना होगा। अगर अति पिछड़ों को न्याय दिलाना चाहते हैं तो ऐलान कीजिए; नहीं कीजिएगा क्योंकि आपकी आदत है, चुनाव में वादा कर फिर कहियेगा कि चुनावी जुमला था। लेकिन नीतीश कुमार ने बिहार में जातीय गणना करवाई, उसकी रिपोर्ट प्रकाशित हुई। जब जातीय गणना शुरू हुआ तो पटना हाईकोर्ट में केस दर्ज हुआ, गणना को रोक दिया गया। फिर रोक हटा। फिर इन्होंने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया, सुप्रीम कोर्ट ने जब फटकार लगाई तब इन्हें समझ आया। बिहार में नीतीश सरकार है, जहाँ नीतीश कुमार रहेंगे वहाँ जनता उनके साथ है। 2 नवंबर में नीतीश कुमार ने युवाओं को रोजगार देकर इतिहास रच दिया। आप जब से सरकार में आये हर चीज का निजीकरण करना शुरू किया। रेलवे में रोजगार खत्म, अग्निवीर बना कर युवाओं को ठग रहे हैं। अग्निवीरों को शहीद का दर्जा नहीं मिल रहा है। मात्र दो लोगों को रोजगार मिला जिसका नाम सबको पता है। उज्ज्वला योजना, आयुषमान भारत, सब फेल है।

Author: Neutral Journalism



