रिपोर्ट : सानु झा
बिहार में चल रहे जमीन सर्वे को लेकर कई तरह की भ्रामक बातें सामने आ रही है। लोगों में ऊहापोह की स्थिति इस बात को लेकर हो गई है कि अब सर्वे बंद हो गया या अब बंद हो जाएगा, परंतु यह बात पूर्ण रूप से गलत है। विभागीय मंत्री दिलीप जायसवाल ने कई समाचार पत्रों और निजी चैनलों को इंटरव्यू में बताया कि यह गलत लोगों के द्वारा गलत जानकारी की व्यापक तौर पर फैलाई जा रही है। मंत्री ने कहा कि जो लोग इस बात को प्रसारित करने में लगे हैं; वह कुछ जमीन माफिया और सरकारी जमीन को हथियाने वाले लोग हैं।
किसके लिए बंद हुआ सर्वे :
मंत्री बताते हैं कि आज भी समाज में 10 से 20 प्रतिशत लोग ऐसे हैं जिनके पास जमीन का कोई कागजात नहीं है, वह कागज विहीन हैं। उन लोगों के लिए मैंने विभाग से बात कर 3 महीने का समय दिया है। इस दौरान वह अपनी सारी कागजातों को दुरुस्त कर लें। सर्वे के नाम पर अफरा–तफरी ना मचे, इसलिए हमलोगों ने इनलोगों के लिए तत्काल रोक लगा दिया है। लेकिन जिन लोगों के पास कागजात हैं उनका सर्वे कल भी जारी था और हमेशा जारी रहेगा।
सब चाहता है जमीन सर्वे हो :
विभागीय मंत्री का कहना है कि कौन नहीं चाहेगा कि हमारा जमीनी मामला सुलझे, हमारे आगे का वंश किसी भी जमीनी लड़ाई में ना फंसे। सब लोग चाहते हैं कि हमारा डाटा डिजिटली अपडेट रहे। लेकिन भूमाफिया मानसिकता वाले लोग बाधा उत्पन्न करना चाहते हैं।
दो विपक्ष है; अच्छा विपक्ष चाहेगा सर्वे हो, गलत विपक्ष नहीं चाहेगा
विपक्ष को आड़े हाथ लेते हुए मंत्री जायसवाल ने कहा कि जो सच्चा और अच्छा विपक्ष रहेगा वह जरूर चाहेगा कि सर्वे हो लेकिन जो जनता के प्रत्येक मुद्दे पर अपनी राजनीति की कोशिश करता है वह कतिपय नहीं चाहेगा की सर्वे हो।

Author: Neutral Journalism



